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हत्या से पहले दोनों ने खाया मुर्गा..पीया दारू…फिर प्रधानाचार्य ने बनाया अप्राकृति रिश्ता…आरोपी ने उतार दिया मौत के घाट
महाराष्ट्र पहुंचने से पहले आरोपी डोंगरगढ में गिरफ्तार
बिलासपुर—हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी चिल्हाटी मे प्राचार्य मनोज चन्द्राकर हत्याकाण्ड की गुत्थी को पुलिस ने पुलिस कप्तान रजनेश सिंह की अगुवाई में सुलझा लिया है। घटना के बाद आरोपी को महत 48 घंटों के अन्दर गिरफ्तार कर लिया है। पुलिस कप्तान ने बताया कि पूछताछ के दौरान आरोपी ने हत्या की वजह अप्राकृतिक का होना बताया है। आरोपी को गिरफ्तार करने से पलहे एसीसीयू और सरकंडा की संयुक्त पुलिस टीम ने 300 सीसीटीवी कैमरो को खंगाला। गिरफ्तार आरोपी का नाम हरीश कुमार पैकरा है। आरोपी सुभाष तालाब के पास ग्राम खम्हारडीह थाना लवन बलौदाबाजार का रहने वाला है।
48 घंटे में सुलझी गुत्थी
पुलिस कप्तान रजनेश सिंह की अगुवाई में पुलिस ने 48 घंटे पहले चिल्हाटी स्थित हाउसिंग बोर्ड कालोनी में हत्या की गुत्थी सुलझाने का दावा किया है। पुलिस कप्तान ने बताया कि हत्या के बाद आरोपी महाराष्ट्र भागने के फिराक में था। लेकिन पुलिस पीछा करते हुए आरोपी डोंगरगढ़ में धर दबोचा गया। पूछताछ के दौरान आरोपी ने बताया कि हत्या की वजह मात्र अप्राकृतिक कृत्य करना है।
पुलिस कप्तान की अगुवाई
पुलिस कप्तान रजनेश सिंह ने बताया कि 26 दिसम्बर को सरकन्डा पुलिस को जानकारी मिली कि चिल्हाटी स्थित हाउसिंग बोर्ड कालोनी के एक मकान में लाश मिली है। जानकारी मिलते ही पुलिस टीम के साथ मौके पर पहुंचा। साथ ही एसीसीयू और सरकंडा पुलिस को जांच पड़ताल कर आरोपी को पकड़ने का आदेश दिया। मौके पर पहुंच कर एफएसएल टीम, फिंगर प्रिंट एक्सपर्ट और स्निफर डॉग ने जांच पड़ताल को अंजाम दिया।
पड़ोसियों से मिली जानकारी
विवेचना के दौरान जानकारी मिली कि मृतक का नाम मनोज चन्द्राकर है। शासकीय हाई स्कूल डांगरी थाना बलौदा जिला जांजगीर चांपा मे प्राचार्य के पद पर काम करता था। 2 महीने पहले अपने परिवार के साथ मकान नम्बर 39 में किराया पर रहने आया। 19 दिसम्बर को परिवार के साथ अपने मूल निवास बिरगहनी थाना बलौदा गया। 22 दिसम्बर को बैंक मे जरूरी काम होने का हवाला देकर अकेले चिल्हाटी वापस आया। पूछताछ के दौरान पड़ोसियो से जानकारी मिली कि मृतक को अंतिम बार 24 दिसम्बर को देखा गया था।
हत्यारा डोंगरगढ़ में गिरफ्तार
पुलिस टीम ने विवेचना के दौरान पता लगाया कि मृतक मनोज कुमार चन्द्राकर 24 दिसम्बर की शाम मोटर सायकल से एक अज्ञात व्यक्ति के साथ अपने मकान आया था। मामले की जानकारी के टीम को अज्ञात आरोपी की पतासाजी के लिए दौड़ाया गया। टीम ने चिल्हाटी से बिलासपुर, जांजगीर चांपा, कोरबा, अंबिकापुर, रायपुर की तरफ जाने वाले रास्ते पर लगभग 300 सीसीटीवी कैमरो को खंगाला। सीसीटीवी फुटेज और गोपनीय जानकारी के आधार पर पुलिस ने संदेही हरीश पैकरा को डोंगरगढ़ में धर दबोचा। आरोपी महाराष्ट्र भाग रहा था। लेकिन टीम ने बीच रास्ते में ही अपने गिरफ्त ले लिया।
आरोपी से अप्राकृतिक संबध
पूछताछ के दौरान आरोपी हरीश पैकरा ने बताया कि मृतक मनोज चन्द्राकर से 23 दिसम्बर को बिलासपुर रेलवे स्टेशन पर मुलाकात हुई। दोनो के बीच दोस्ती हो गयी। मृतक मनोज चन्द्राकर 24 दिसम्बर को चिल्हाटी हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी स्थित मकान नम्बर 39 मे लेकर गया। दोनों ने रात में जमकर शराब मुर्गा खाया। नशे में आने के बाद बाद मृतक मनोज कुमार चन्द्राकर ने उसके साथ अप्राकृतिक सम्बन्ध बनाया।
सिर पर तवा से हमला और मौत
पुलिस कप्तान ने बताया कि घटना से नाराज हो कर आरोपी हरीश पैकरा ने किचन से तवा लाकर मनोज कुमार चन्द्राकर के सिर पर जानलेवा हमला कर दिया। मनोज चन्द्राकर की मौके पर ही मौत हो गयी। पूछताछ के बाद आरोपी हरीश पैकरा को हिरासत मे लेकर वैधानिक कार्यवाही की गयी है।
गिरफ्तारी में महत्वपूर्ण भूमिका
पूरे प्रकरण में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (शहर) श्री राजेन्द्र जायसवाल, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (एसीसीयू) अनुज कुमार, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक उदयन बेहार, नगर पुलिस अधीक्षक सिध्दार्थ बघेल, थाना प्रभारी सरकंडा निलेश पाण्डेय, चौकी प्रभारी मोपका उप निरीक्षक संजीव ठाकुर, उप निरीक्षक कृष्णा साहू, एसीसीयू बिलासपुर के प्रधान आरक्षक देवमुन पुहुप, आरक्षक बोधु राम कुम्हार, वीरेंद्र गंधर्व, अविनाश कश्यप, थाना सरकंडा से प्रधान आरक्षक प्रमोद सिंह, आर विवेक राय, राकेश यादव, संजीव जांगड़े और चौकी मोपका प्रधान आरक्षक रवि सैनिक, आरक्षक दीपक खांडेकर का महत्वपूर्ण योगदान रहा है।