MP News-राजगढ़़/मध्य प्रदेश के एक जिले में ‘एक बगिया माँ के नाम’ और ‘जल संचय, जन भागीदारी अभियान’ में खराब प्रगति को लेकर मुख्य कार्यपालन अधिकारी (सीईओ) जिला पंचायत ने सख्त रुख अपनाया है। गत दिवस को जिला पंचायत सभागृह में आयोजित समीक्षा बैठक के दौरान सीईओ ने लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों और कर्मचारियों पर नाराजगी व्यक्त करते हुए कड़ी कार्रवाई की।
इस बैठक में कार्यपालन यंत्री ग्रामीण यांत्रिकी सेवा, मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत, सहायक यंत्री, अतिरिक्त कार्यक्रम अधिकारी और उपयंत्री सहित अन्य अधिकारी शामिल हुए थे।
समीक्षा बैठक के दौरान ‘एक बगिया माँ के नाम’ अभियान के अंतर्गत खराब प्रगति पर मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत द्वारा गहरी नाराजगी व्यक्त की गई। इस लापरवाही के लिए 3 सहायक यंत्री, 3 अतिरिक्त कार्यक्रम अधिकारी और 13 उपयंत्रियों का 1 दिवस का वेतन काटने के निर्देश दिए गए।
जिन सहायक इंजीनियरों का वेतन काटा गया है, उनमें जनपद पंचायत खिलचीपुर एवं जीरापुर के श्री गोपाल सिंह किरार, जनपद पंचायत राजगढ़ के श्री मेहताब सिंह अहिरवार और जनपद पंचायत नरसिंहगढ़ के श्री शैतन सिंह शामिल हैं।
इसी प्रकार, जिन अतिरिक्त कार्यक्रम अधिकारियों पर कार्रवाई हुई है, उनमें जनपद पंचायत सारंगपुर एवं जीरापुर के श्री ललित कुमार दुबे, जनपद पंचायत राजगढ़ के श्री दीपक यादव और जनपद पंचायत नरसिंहगढ़ के श्री मांगीलाल दांगी शामिल हैं।
इसके अतिरिक्त, 13 उपयंत्रियों का भी एक दिवसीय वेतन काटने के निर्देश दिए गए हैं। इनमें जनपद पंचायत ब्यावरा के श्री सुनील कुमार मंडलोई, श्री विवेक ललित, श्री अजय परमार, श्री दिलीप कनाडे; जनपद पंचायत खिलचीपुर के श्री पंकज सिंह; जनपद पंचायत नरसिंहगढ़ के श्री राहुल मेशराम, श्री प्रशांत शर्मा, सुश्री निशा बनवाले; जनपद पंचायत राजगढ़ के श्री सुरेश सुमन; जनपद पंचायत सारंगपुर के श्री सत्यप्रकाश शर्मा, श्री दिवाकर दुबे, श्री अनिल कुमार जालोन; तथा जनपद पंचायत जीरापुर के श्री अनिल शिवहरे शामिल हैं।
मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत द्वारा की गई इस सख्त कार्रवाई से यह संदेश स्पष्ट हो गया है कि विकास योजनाओं और अभियानों में किसी भी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। यह कदम अन्य अधिकारियों और कर्मचारियों के लिए भी एक चेतावनी है कि उन्हें अपने कर्तव्यों का निर्वहन पूरी निष्ठा और लगन से करना होगा।