शिक्षाकर्मी संविलयन:राजपत्र में कई मुद्दे स्पष्ट नहीं..कमलेश्वर ने की नीति का खुलासा करने की मांग

Shri Mi
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रायपुर। छत्तीसगढ़ के शासकीय विद्यालयों में अब तीन कैडर के शिक्षक होंगे छत्तीसगढ़ के पंचायत विभाग ने 26 जुलाई 2018 को राजपत्र प्रकाशित किया है। जिसमे छ.ग.शिक्षक (पं) सवर्ग कर्मचारी भर्ती नियम 2013 में संशोधन करते हुए स्पष्ट किया है। कि अब जैसे ही शिक्षक (पं) 8 वर्ष की सेवा पूर्ण करेंगे वे स्कूल शिक्षा विभाग में शासकीय शिक्षक के रूप में संविलयन पात्र होंगे। वही राजपत्र में 7 वर्ष से कम सेवा वालें।व्यख्याता(पं) को 5300-150-8300,शिक्षक(पं)को 4500-125-7000,सहायक शिक्षक(पं)3800-100-5800,वेतनमान मिलेगा तथा 7 से 8 वर्ष बीच के शिक्षक(पं)को क्रमशः ,7000-200-30000+4500 अध्यापन भत्ता,6000-175-25000+अध्यापन भत्ता,5000-150-20000+अध्यापन भत्ता,(समयमान वेतन) प्राप्त होगा। जैसे ही 8 वर्ष पूर्ण सेवा होगी उन्हें सातवें वेतनमान का न्यूनतम मैट्रिक्स का वेतनमान मिलेगा।

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cgwall.com पर चर्चा करते हुए छत्तीसगढ़ व्यख्याता(पं)संघ के प्रान्ताध्यक्ष एवम् एकता मंच के संचालक कमलेश्वर सिंह ने बताया कि शासकीय शिक्षक.. का उल्लेख ..राजपत्र में एक सकरात्मक शब्द है। पंचायत विभाग द्वारा जारी राजपत्र में शिक्षक (एल बी) शब्द होगा यह माना जा रहा था। यहाँ अर्थ स्पस्ट हो रहा है।

उन्होंने बताया कि संविलयन के आदेश चाहे 6 माह में जारी करें या एक वर्ष में सातवां वेतनमान 8 वर्ष की पूर्ण तिथि से ही प्राप्त होगी ।संविलयन के बाद यह राशि एरियर्स के रूप में मिलेगी।और इससे यह भी स्पस्ट होता है। कि वर्तमान में जिन शिक्षको का संविलियन हुआ है।उनका बकाया एरियर्स का भुगतान होगा।

कमलेश्र्वर सिंह ने बताया कि पंचायत विभाग द्वारा इस राजपत्र की नकरात्मक बातें ये है कि यदि शिक्षक (पं)के रहते आकस्मिक मृत्यु हो जाती है।तो जो अहर्ता निर्धारित की गई है।उसके अनुसार उसके आश्रित को तत्काल अनुकम्पा नियुक्ति नही मिलेगी उन्हें 12 वीं उत्तीर्ण के साथ डी एड/टी ई टी उत्तीर्ण होना आवशयक है ।

उन्होंने बताया कि 7 वर्ष पूर्ण होने पर आगामी पदोन्नति पंचायत द्वारा की जायेगी या स्कूल शिक्षा विभाग करेगा ये भी स्पष्ट नही है। और सबसे नकरात्मक पक्ष परिवीक्षा अवधि में प्रत्येक वर्ष सेवा का मूल्यांकन किया जायेगा। जिससे शिक्षक(पं)पर यह खतरा मंडराता रहेगा की कहीँ उन्होंने आचरण संहिता का उल्लंघन किया या कार्य सन्तोष प्रद नही रहा तो नियमितीकरण पाँच वर्ष तक बढ़ा सकते है। या एक माह की सुचना देकर सेवा से पृथक किया जा सकता है ।

उन्होंने बताया कि प्रदेश के शिक्षको को अब स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा संविलयन के बाद स्कूल शिक्षा विभाग में प्रचलित छत्तीसगढ़ अराजपत्रित तृतीय श्रेणी शिक्षा सेवा भर्ती तथा पदोन्नति नियम एवं छत्तीसगढ़ स्कूल शिक्षा (राजपत्रित)सेवा भर्ती तथा पदोन्नति नियम 2014 में संशोधन राजपत्र का इंतजार है। जिसमे प्रधान पाठक /प्राचार्य पद पर वरिष्ठता के आधार पर पदोन्नति करने ,प्रथम नियुक्ति तिथि से एक ही पद पर 10 वर्ष की सेवा पूर्ण करने प्रथम समयमान 20 वर्ष पूर्ण करने पर द्वितीय समयमान तथा 30 वर्ष में तीसरा समयमान वेतन देने के आदेश का इंतजार है।

उन्होंने ने बताया कि संविलयन शिक्षक (एल बी) संवर्ग को सीधी भर्ती के पद पर संविलयन से पूर्व नियुक्त पद पर नियुक्ति तिथि से सेवा की गणना कर समयमान वेतन का लाभ पाने का अधिकार होना चाहिए।

छत्तीसगढ़ व्यख्याता(पं) संघ के प्रान्ताध्यक्ष व एकता मंच के संचालक कमलेश्वर सिंह ने शासन से मांग की है कि स्थानांतरण निति ,प्रधान पाठक ,प्राचार्य पद पर पदोन्नति ,समयमान वेतन प्रदान करने के सम्बद्ध में अपनी निति का स्पष्ट खुलासा करें। साथ ही मांग की है कि शिक्षक(पं) सवर्ग की आकस्मिक मृत्यु होने पर उनके आश्रित को निर्धारित अहर्ता प्राप्त नही करने पर कम से कम भृत्य एवं सहायक ग्रेड 03 के पद पर अनुकम्पा नियुक्ति का प्रावधन करें ।

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पत्रकारिता में 8 वर्षों से सक्रिय, इलेक्ट्रानिक से लेकर डिजिटल मीडिया तक का अनुभव, सीखने की लालसा के साथ राजनैतिक खबरों पर पैनी नजर
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