छत्तीसगढ़ की आग मप्र में भी लगी…दर्जनों महिला शिक्षकों ने मुंडाया सिर…प्रदेश शिक्षाकर्मी संघ नेता भोपाल रवाना

BHASKAR MISHRA
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बिलासपुर— भोपाल के जम्बूरी मैदान में शनिवार को करीब 100 से अधिक शिक्षाकर्मियों ने सिर मुंडाकर प्रदेश सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया है। सिर मुंडवाने वालों में एक दर्जन से अधिक महिला शिक्षाकर्मी भी शामिल हैं। महिला शिक्षाकर्मी की सिर मुंडाने की खबर देश में बिजली की तरह फैल गयी है। छत्तीसगढ के शिक्षक मोर्चा संघ के पदाधिकारी मध्यप्रदेश शिक्षाकर्मियों की मांग का समर्थन कर..भोपाल रवाना होने लगे हैं। अमित नामदेव समेत शिक्षक मोर्चा नेताओं ने महिला शिक्षाकर्मियों की सिर मुडाने की घटना को शिक्षकों के लिए त्रासदी बताया है।

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                           शिक्षक मोर्चा संघ के नेता अमित नामदेव ने बताया कि शनिवार को भोपाल के जम्बूरी मैदान में जो कुछ भी हुआ दिल दहला देने वाला है। महिला शिक्षाकर्मियों ने सिर मुंडवाकर ना केवल शिक्षाजगत बल्कि देश और समाज को झकझोर कर रख दिया है। बावजूद इसके शिवराज सरकार अपने जिद से टस से मस नहीं हो रही है। कमोबेश छत्तीसगढ़ में भी यही स्थिति हैं। शिक्षाकर्मियों की सात सू्त्रीय मांग को लेकर अनिश्चित कालीन हड़ताल को सरकार ने बलपूर्वक दबाया दिया।

             अमित नामदेव ने बताया कि प्रदेश के सभी शिक्षाकर्मी मध्यप्रदेश के शिक्षाकर्मियों की संविलियन,सातवां वेतनमान,स्थानांतरण नीति,अनुकम्पा नियुक्ति और चाइल्ड केयर की मांगों का समर्थन करता है। मध्यप्रदेश के शिक्षाकर्मियों के साथ कुछ वैसा ही हो रहा है जैसा छत्तीसगढ़ के शिक्षाकर्मियों के साथ हुआ। जानकारी के अनुसार शिक्षाकर्मियों ने जेवर बेचकर और पेट काटकर जम्बूरी मैदान को लाखों रूपए में किराया से लिया। लेकिन शिवराज सरकार की तरफ से प्रदर्शनकारी शिक्षाकर्मियों से बातचीत का कभी प्रयास नहीं किया गया। केवल मंत्रालय के एसी में बैठकर मीडिया में बयान दिया जा रहा है कि शिक्षाकर्मियों की मांग पर विचार किया जा रहा है।

                            छत्तीसगढ़ प्रदेश शिक्षाकर्मी नेता ने बताया शनिवार को भोपाल के जम्बूरी मैदान में जो कुछ हुआ…उसे दशकों तक नहींAMIT NAMDEV भूला जाएगा। 100 से अधिक लोगों ने सरकार की उदासीनता और अपनी मांगो को लेकर मुंडन कराया। मुंडन करवाने वालों में एक दर्जन से अधिक महिला शिक्षाकर्मी भी शामिल हैं। महिलाओं के मुंडन की जानकारी ने समाज को झकझोर कर रख दिया है। लेकिन पत्थर दिल शिवराज सरकार पर इसका अभी तक कोई असर होता नहीं दिखाई दे रहा है।

                        निश्चित रूप से शनिवार का दिन मध्यप्रदेश के शिक्षाजगत में काला दिन के रूप में याद किया जाएगा। छत्तीसगढ़ समेत समुचा देश इसे मुंजन की घटना को कभी नहीं भूलना चाहेगा। अमित ने कहा कि घटना के बाद सोशल मीडिया में सरकार के अंधे भक्त शिक्षकों के खिलाफ अनाप शनाप बयान दे रहे हैं। ऐसे लोगो को शर्म आनी चाहिए… जिन्होने शिक्षकों की मर्यादा को ठेस पहुंचाई है। मध्यप्रदेश के सभी साहसी शिक्षाकर्मी साथियों का छत्तीसगढ़ के सभी शिक्षाकर्मी ना केवल प्रणाम करते हैं। बल्कि जम्बूरी मैदान पहुंचकर सहयोग देने का भी फैसला किया है।

                       नवीन शिक्षा कर्मी संघ प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य अमित नामदेव ने बताया कि भारत में शिक्षकों को भगवान के समकक्ष रखा गया है। लेकिन जम्बूरी मैदान में शिक्षकों को ना केवल अपमानित होना पड़ा..बल्कि भगवान के समकक्ष रखने वालों ने सोशल मीडिया में अपमानित भी किया है।

               नामदेव ने आगे बताया कि छत्तीसगढ़ में जब शिक्षाकर्मी हड़ताल पर थे…तो कुछ प्रबुद्ध लोगों ने शिक्षकों के खिलाफ अनाप शनाप बयान दिया था। बावजूद इसके शिक्षाकर्मियों ने हौसला नहीं छोड़ा। बल्कि सरकार का ही धैर्य खत्म हो गया। इसलिए छत्तीसगढ़ के शिक्षाकर्मियों ने फैसला किया है कि मध्यप्रदेश शिक्षाकर्मियों के संविलियन,सातवां वेतनमान,अनुकम्पा नियुक्ति,चाइल्ड केयर अवकाश समेत अन्य मांगो का समर्थन करने जम्बूरी मैदान जाएगा।

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