मैं विक्षिप्त नहीं हूं…न मानसिक रोगी…कि लौटकर कांग्रेस जाऊं…अजीत जोगी

BHASKAR MISHRA
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JOGI.बिलासपुर—मैं विक्षिप्त नही हूं…न ही मैं पागल हूं…कि लौटकर कांग्रेस में जाऊं…मैने पार्टी का गठन कांग्रेस में लौटने के लिए नहीं किया है। लोग भ्रम फैला रहे हैं…कार्यकर्ताओं को भडकाया जा रहा है लेकिन इसमें कामयाबी किसी को नहीं मिलने वाली है। यह बातें आज मरवाही सदन में पूर्ाव मुख्यमंत्री अजीत जोगी ने पत्रकारवार्ता के दौरान कही। जोगी ने बताया कि साल 2018 में जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ जे की सरकार बनते ही शराब पर कुछ शर्तों के साथ पूरी तरह से पावंदी लगा दी जाएगी। जोगी ने शराबबंदी मामले में भाजपा और कांग्रेस में नूरा कुश्ती खेल होना बताया…।

                               अजीत जोगी ने पत्रकारों को बताया कि मेरी जाति का मुद्दा अनंत काल तक चलेगा। जब जब चुनाव का समय आएगा…मुद्दा गर्म हो जाएगा। क्योंकि जोगी ही चुनाव का मुद्दा होता है। नौकरी में था तो मेरी जाति पर किसी ने उंगली नहीं उठाई.। राजनीति में आते ही जाति को मुद्दा बना दिया गया। मैने 1986 से अब तक सात मुख्यमंत्री के काल में चार बार कोर्ट से जाति के केश को जीता है। आगे भी ऐसा ही होगा…मैं जीतूंगा तो विपक्ष बड़े कोर्ट में जाएगा। यदि हारा तो मैं उनके खिलाफ जाउंगा।

                  आदिवासियों में आपके जनाधार से घबराकर या परेशान करने के लिए नंदकुमार साय को अनुसूचित जनजाति आयोग का अध्यक्ष बनाया गया है। जोगी ने कहा कि नंदकुमार सरल सौम्य और योग्य इंसान हैं। सर्वमान्य आदिवासी नेता हैं…। उन्हें यह स्थान मिलना ही चाहिए था। मैने उन्हें दो बार ना केवल हराया बल्कि जमानत भी जब्त करवाया। लेकिन आदिवासी समाज जोगी कांग्रेस के साथ है। रही बात मेरी जाति की तो बताना चाहता हूं कि जिन्हें मेरी जाति की चिन्ता है वे जोगीसार जाएं…मेरी जाति का पता लगाएं। कोर्ट में बैठकर मेरी जाति को लेकर कुछ हासिल नहीं होने वाला है।

                                   जोगी ने बताया कि मैं पागल या विक्षिप्त नहीं हूं…न ही मानसिक रोगी हूं…कि लौटकर कांग्रेस में जाऊं। मैने राष्ट्रीय पार्टी छोड़कर ढाई करोड़ जनता की सेवा के लिए पार्टी का गठन किया है। मेरा सभी पार्टी के लोगों से अच्छे संबध है। इसका अर्थ यह नहीं कि मैं कांग्रेस पार्टी लौटकर जाउंगा। भाजपा और कांग्रेस अपने कार्यकर्ताओं को रोकने के लिए अफवाह फैला रहे हैं कि अजीत जोगी कांग्रेस में आने वाले हैं। मेरी पार्टी में जितना भाजपा के लोग शामिल हुए हैं उतने ही कांग्रेस के नेता भी । इसके अलावा तमाम छोटी पार्टियों के बडे नेता और उनके समर्थक जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ जे में शामिल हुए हैं।

                            शराबबंदी मामले में अमित जोगी ने बताया कि प्रदेश सरकार के मुखिया ने प्रकाशमुनी राज साहब का अपमान किया है। उन्होंन झोली फैलाकर शराबबंदी की मांग की थी। लेकिन डॉ.रमन सिंह ने घुमा दिया। मैंने उसी दिन बेमेतरा में पत्रवर्ता में शराबबंदी का एलान किया। बाद में कांग्रेस पार्टी ने शराबबंदी का मुद्दा बनाया। जोगी ने कहा कि जब सदन में शराबबंदी को लेकर अविश्वास प्रस्ताव लाया गया तो पार्टी ने बारदाने का मुद्दा उठाकर सरकार के संशोधित आबकारी नीति का समर्थन किया। विपक्षी दल ने बहिष्कार की नीति अपनाकर शराबबंदी मुद्दे को भटका दिया। इससे जाहिर होता है कि कांग्रेस और भाजपा में नूरा कुश्ती का खेल चल रहा है। लेकिन बताना चाहूंगा कि जनता कांग्रेस शराबबंदी की मांग पर अडिग है।

                                     भूपेश बघेल पर किए गए एक सवाल पर जोगी ने कहा कि उनके पास न तो दृष्टि है और न दृष्टिकोण..। इसलिए कुछ कहना नहीं चाहूंगा। कांग्रेस डूब रही है…। इससे ज्यादा मुझे कुछ नहीं कहना है। जोगी ने बताया कि  सदन में लोकतांत्रिक प्रक्रिया का पालन किया जाता है। राजेन्द्र शुक्ल,प्रेमप्रकाश पाण्डेय,धरमलाल कौशिक तक प्रक्रिया का पालन किया गया है। लेकिन अब जो कुछ हो रहा है वह उचित नहीं है। जोगी ने भूपेश बघेल और जीएस मिश्रा के बीच के विवाद पक कहा कि पेन्ड्रावन बांध मुर्रा गांव में है। बांध से किसानों फसल के लिए पानी मिलता है। जीएस मिश्रा के पिता मालगुजार थे। उनकी जमीन पर ही बांध बना है। जाहिर सी बात है कि पिता के नाम को बांध से हटाए जाने पर बेटे को दुख होगा।

                       जोगी ने बताया कि पेन्ड्रावन बांध के नीचे प्रचूर मात्रा में खनिज है। जिस सरकार ने खनिज निकालने के लिए अनुमति दी है उसी पार्टी का नेता बांध बचाने के लिए पदयात्रा कर रहा है। अजीब विसंगति है। सरकार बांध खत्म कर खनिज निकालना चाह रही है। विधायक विरोध में पदयात्रा कर रहा है। यह सब नौटंकी है।

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