बिलासपुर—मीडिया को पीसीसी महामंत्री अटल श्रीवास्तव ने निगम को निशाना बनाया है। ठोस अपशिष्ट प्रबंधन का ठेका ब्लैक लिस्टेड कम्पनी को दिए जाने का विरोध किया है। कांग्रेस कार्यालय मेंं पत्रकारों को अटल ने बताया कि शक ही नहीं बल्कि पूरा विश्वास है कि रामके इन्फ्रा स्ट्रक्चर कंंपनी और निगम के बीच लेन देन हुआ है। ब्लैक लिस्टेड कंपनी को वेस्ट मैनेजमेंट अपशिष्ट प्रबंधन का ठेका दिया जाना समझ से परे हैं। पत्रवार्ता में अटल श्रीवास्तव के अलावा निगम नेता प्रतिपक्ष शेख नजरूद्दीन और कांग्रेस पार्षद दल के प्रवक्ता शैलेन्द्र श्रीवास्तव भी मौजूद थे।
पत्रकारों को अटल ने बताया कि नगर निगम बिलासपुर और निकाय प्रशासन ने ठोस अपशिष्ट कचरा प्रबंधन की जिम्मेदारी ब्लैक लिस्टेड कंंपनी को देने का फैसला किया है। ठेके का कांग्रेस पार्टी विरोध करती है। इसमें भ्रष्टाचार की बू आ रही है। अटल ने कहा कि विवादित पुणे नगर निगम से ब्लैक लिस्टेड कम्पनी रामके इंफ्रा स्ट्रक्चर लिमिटेड को ठेका दिया जाना शक पैदा करता है। अटल ने कहा कि सालिड बेस्ट मैनेजमेन्ट आने के बाद जनता से प्रतिमाह एक करोड़ यूजर चार्ज लिया जाएगा। कम्पनी को 2115 रू. प्रति टन कचरे पर दिया जाएगा।
अटल ने बताया कि लगभग 1.70 टन प्रतिदिन कचरा शहर से निकलेगा । 13,00,000 रू. ठेका कम्पनी को दिया जाएगा। वर्तमान में 14 करोड रू. सालाना सफाई पर खर्च होता है। रामके के आने के बाद भी वर्तमान सफाई व्यवस्था चालू रहेगी। सफाई का बजट लगभग दोगुना हो जायेगा। जाहिर सी बात है कि बोझ जनता को ही सहना होगा।
अटल ने बताया कि शुल्क वसूली का काम प्राइवेट हाथों को दिया जाएगा। रामके के कर्मचारी वसूली के समय गुण्डागर्दी भी करेंगे। क्योंकि निगम वर्तमान कर के साथ नया कर भी वसूलेगा। जनता में आक्रोश का होना स्वभाविक है। नगर निगम ने इन बातों पर विचार करना चाहिेए।
अटल ने सवाल दागते हुए कहा कि वर्तमान में नगर निगम का प्रमुख आय का स्रोत राजस्व और सम्पत्ति कर है। 9 करोड़ रूपये निगम को सालाना आय होती है। निगम ने आज तक 100 प्रतिशत वसूली नहीं किया है। हाल ही में नगरीय निकाय विभाग ने सम्पत्ति कर में 50 प्रतिशत की वृद्धि की है। इसका मतलब है कि सम्पत्ति कर से ज्यादा सफाई कर वसूला जाएगा। 12 करोड़ रूपये वसूलने की तैयारी नगर निगम ने की है। कर वसूली का ठेका निजी हातों में दिया जाएगा।
कांग्रेस महामंत्री ने बताया कि सालिड बेस्ट मैनेजमेन्ट का काम यदि ठेके में दिया जा रहा तो निगम को सफाई काम में प्रयोग होने वाले सामानों को देने का कोई औचित्य नहीं है। निगम डस्टबीन खरीद कर कम्पनी को दे रही है। इससे जाहिर होता है कि टेन्डर की शर्तो में जमकर भ्रष्टाचार किया गया है। अटल ने पत्रकारों को बताया कि व्यवसायिक प्रतिष्ठानों से वर्तमान दर से कई गुना अधिक सफाई कर वसूलने के तैयारी हो रही है।
सवालों का जवाब देते हुए अटल ने बताया कि ट्रान्सपोर्ट वाहनों से प्रति ट्रिप 75 से 100 रू. सफाई कर वसूला जाएगा। जाहिर सी बात है कि भ्रष्टाचार को बढ़ावा मिलेगा। गाड़ी मालिक जनता से पैसे वसूलेंंगे। महंगाई का बढना निश्चित है।
पीसीसी महामंत्री के अनुसार 50 प्रतिशत सम्पत्ति कर के बाद अब कचरा उठाने के नाम पर 500-1000 रूपए यूजर चार्ज जनता से लिया जाएगा। जिसका कांग्रेस पार्टी और पार्षद विरोध करते है। सामान्य सभा में कांग्रेस पार्षद दल महापौर और परिषद से जवाब मांगेगे।