पढ़ाई के साथ सामाजिक सरोकार भी जरूरी-प्रो.अंजिला

Shri Mi
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SMALL स्वच्छता की शपथ दिलातीं कुलपति प्रोफेसर अंजिला गुप्ताबिलासपुर।वर्तमान समय में किताबी ज्ञान के साथ सामाजिक सरोकारों से जुड़ाव एवं अतिरिक्त गतिविधियों की भी महती भूमिका है। यह बात गुरु घासीदास केंद्रीय विश्वविद्यालय की एनएसएस इकाई 16 अगस्त से 31 अगस्त तक मनाये जा रहे स्वच्छता पखवाड़ा के उद्घाटन कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए कुलपति प्रोफेसर अंजिला गुप्ता ने कही। इस अवसर पर कार्यक्रम के मुख्य अतिथि जयप्रकाश मौर्य, आईएएस, सीईओ, जिला पंचायत, बिलासपुर, विशिष्ट अतिथि हिमांशु गुप्ता, सीईओ, जिला पंचायत कोटा रहे।

             
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                     विश्वविद्यलाय के प्रबंध अध्ययन विभाग के सभागार में सायं 4 बजे से आयोजित हुए कार्यक्रम में कुलपति प्रोफेसर गुप्ता ने एनएसएस के स्वयं सेवकों को संबोधित करते हुए कहा कि आज के दौर में प्रस्तुतिकरण की अहमियत है ऐसे में आप सभी को अपनी योग्यता एवं क्षमता के परिचय के लिए ऐसे मंच बेहद कारगर हैं। उन्होंने कहा कि मानव संसाधन विकास मंत्रालय से प्राप्त दिशा निर्देशों के मुताबिक विश्वविद्यालय में एनएसएस के नोडल अधिकारी एवं कार्यक्रम अधिकारियों ने बहुत प्रासंगिक, उपयोगी एवं दूरदृष्टि के साथ प्रेरित करने वाला कार्यक्रम बनाया है। इस अवसर पर कुलपति महोदया ने स्वयं सेवकों को स्वच्छता की शपथ दिलवाई।

                 कार्यक्रम के मुख्य अतिथि जयप्रकाश मौर्य, आईएएस, सीईओ, जिला पंचायत, बिलासपुर ने सरकार की खुले में शौच मुक्त करने की योजना एवं स्वच्छता अभियान पर विस्तार से चर्चा की। राष्ट्रीय सेवा योजना के स्वयं सेवकों को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि स्वच्छता को लेकर चलाई जा रही मुहिम ऐतिहासिक है जिसके अंतर्गत सामुदायिक सहायता से सामाजिक बुराइयों को समाप्त करने का प्रयास किया जा रहा है।

                         उन्होंने कहा कि गांव-गांव खुले में शौच से मुक्त हो ऐसा सरकार का लक्ष्य है जिसके लिए समाज के हर तबके को आगे आकर सामुदायिक दायित्व की भावना के साथ कार्य करना होगा। उन्होंने कहा कि सरकार बायो टॉयलेट बनाने के लिए किसी तरह की राशि नहीं देती बल्कि 12 हजार रुपये की रकम प्रोत्साहन राशि प्रदाय की जाती है जो गांव को खुले में शौच से मुक्त बनाने के लिए हितग्राही को दी जाती है। उनके द्वारा स्वच्छता अभियान विषय पर पावर प्वाइंट प्रस्तुति के माध्यम से उनके उदेश्यों पर प्रकाश डाला।

                          विशिष्ट अतिथि हिमांशु गुप्ता, सीईओ, जिला पंचायत कोटा ने भी कोटा अंचल में सरकार के स्वच्छता अभियान एवं खुले में शौच मुक्ति के लिए बनाये जा रहे बॉयो-टॉयलेट पर विस्तार से परिचर्चा की। उन्होंने विश्वविद्यालय द्वारा गोद लिये गये विभिन्न ग्राम पंचायतों में किये जा रहे प्रयासों की भी सराहना की।

                            गुरु घासीदास केंद्रीय विश्वविद्यालय में मानव संसधान विकास मंत्रालय के उन्नत भारत अभियान के कोटा विकासखंड के पुडू, रिंगवार, तेंदुभाठा और उमरिया दादर ग्राम पंचायतों के सभी गांवों को गोद लिया गया है।

                         बिलासपुर से तकरीबन 45 किलोमीटर दूर जंगलों के बीच गुरु केंद्रीय विश्वविद्यालय के शिक्षकों ने कुलपति प्रोफेसर अंजिला गुप्ता के कुशल मार्गदर्शन में अति पिछड़ा आदिवासी समूहों की खुले में शौच जाने की आदत को ना सिर्फ बदल दिया बल्कि स्वच्छ भारत मिशन के अंतर्गत निर्मित हो रहे बायो-टॉयलेट के इस्तेमाल के लिए भी उन्हें एकजुट करने का प्रयास अनवरत जारी है।

                         इस कार्यक्रम के क्रियान्वयन में कार्यक्रम अधिकारी डॉ. नमिता शर्मा एवं डॉ. सोमा दास ने अहम भूमिका का निर्वाहन किया। कार्यक्रम का संचालन विश्वविद्यालय की एनएसएस इकाई के नोडल अधिकारी डॉ. ब्रजेश तिवारी ने किया। इस अवसर पर बड़ी संख्या में एनएसएस इकाई-2 एवं 6 के छात्र-छात्राएं के अलावा उन्नत भारत अभियान के नोडल अधिकारी डॉ. के के चंद्रा एवं अन्य शिक्षक मौजद रहे।

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पत्रकारिता में 8 वर्षों से सक्रिय, इलेक्ट्रानिक से लेकर डिजिटल मीडिया तक का अनुभव, सीखने की लालसा के साथ राजनैतिक खबरों पर पैनी नजर
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