जोगी ने दिखाया भूपेश को आइना..केदार कश्यप

BHASKAR MISHRA
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kedar-23बिलासपुर—उच्च शिक्षा में प्रवेश लेने वाले विद्यार्थी किसी लायक नहीं है। उन्हें ठीक से वर्णमाला तक का ज्ञान नहीं है। उच्च शिक्षा में कोर्स से पहले प्राथमिक शिक्षा की जानकारी देनी पड़ रही है। प्रदेश के कई स्कूलों में विषयों के अध्यापक नहीं है। आधारभूत सरंचना की भारी कमी है। सारी कमियों को दूर जल्द से जल्द करें। यह बातें आज शिक्षा मंत्री केदार कश्यप ने मंथन सभागार में आयोजित बैठक के दौरान सभी अधिकारियों से कही। इस मौके पर शिक्षा विभाग के अलावा अन्य विभाग के आला अधिकारी भी उपस्थित थे।

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                              प्रदेश शिक्षामंत्री केदार कश्यप आज कलेक्टोरेट स्थित मंथन सभागार संभागस्तरीय समीक्षा बैठक की। इस मौके पर उन्होंने दसवी और बारहवीं परिणाम को लेकर चिंता जाहिर करते हुए शिक्षा की गुणवत्ता को लेकर समीक्षा की। बैठक में संभाग के 40 स्कूलों के प्राचार्य पूरी तैयारी के साथ नजर आए।  रायगढ़ से बैठक में हाजिर हुए प्राचार्य ने बताया कि उनके स्कूल का परिणाम औसत से औसत बेहतर रहा। दो बच्चों ने 80 प्रतिशत से ज्यादा अंक हासिल किये हैं। प्रथम श्रेणी में उत्तीर्ण होने वाले परीक्षार्थियों की संख्या उत्साहजनक है। प्राचार्य ने पोर्ट रखते हुए कहा कि बच्चों को विज्ञान का नहीं बल्कि राजनीति और इतिहास के शिक्षकों की जरूरत है।  इसके लिए बाहरी शिक्षकों का सहारा लेना पड़ता है।

                                  रायगढ़ के प्राचार्य ने बताया कि बच्चे बहुत कमजोर हैं लेकिन सही मार्गदर्शन मिलने पर वे सीख भी जल्दी जाते हैं। बच्चों के फेल होने का मुख्य कारण उनका नियमित स्कूल नहीं आना है।

                           शासकीय उच्चतर माध्यमिक शाला बिलासपुर के एक प्राचार्य ने बताया कि 2008 में हाईस्कूल में उन्नयन होने के बाद बच्चों को उच्च शिक्षा के लिए पर्याप्त मार्गदर्शन की जरूरत है। बच्चों की संख्या की तुलना में कक्षों की भारी कमी है। बच्चों के लिए ना तो प्रयोगशाला है और ना ही लाईब्रेरी। प्राचार्य ने बताया कि  9 वी में प्रवेश लेने वाले विद्यार्थियों को 15 से 20 दिन तक अंग्रेजी और हिन्दी वर्णमाला  पढाया जाता है। आठवीं से हाईस्कूल में प्रवेश लेने वाले बच्चे बहुत कमजोर हैं। उन्हें ठीक से गिनती भी नहीं आती है।

                      बैठक में उपस्थित संभाग के सभी प्राचार्यों ने शिक्षामंत्री को बताया कि प्राथमिक और माध्यमिक स्कूलों में पठन पाठन और आधारभूत संरचना को लेकर बहुत मेहनत की जरूरत है। बच्चे काफी कमजोर आ रहे हैं। इसलिए शिक्षा की गुणवत्ता को लेकर गंभीर कदम उठाना जरूरी है।

भूपेश को आइना

                      मंथन सभागार में बैठक में शिरकत करने से पहले पत्रकारों से चर्चा करते हुए शिक्षा मंत्री केदार कश्यप ने बताया कि संभागीय माध्यमिक बोर्ड परीक्षाओं का सतत मुल्यांकन की जरूरत है। उन्होने बताया कि हमें पास और फेल से ज्यादा शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार की जरूरत है।  केदार ने कश्यप ने बताया कि योजना के तहत अब मॉडल स्कलों को खत्म कर सामान्य प्रक्रिया के तहत अन्य स्कूलों से जोड़ा जाएगा।

                                   इस दौरान कश्यप ने बैठक में शाला प्रवेशोत्सव परीक्षार्थियों की संख्या,युक्तियुक्तकरण, बच्चों की सुरक्षा, शिक्षा का अधिकार, नि:शुल्क पाठ्य पुस्तक का वितरण, गणवेश वितरण सांसद आदर्श ग्राम क्रियान्वयन, शिक्षाकर्मियों के आनलाइन वेतन भुगतान, प्रश्न पत्र प्रणाली में सुधार की आवश्यताओं पर चर्चा की। पत्रवार्ता में केदार कश्यप ने कहा कि लोकसुराज अभियान और जोगी के ग्राम आवाज में किसी प्रकार की तुलना नहीं है। ग्राम आवाज अभियान कांग्रेस की गुटबाजी का फसल है। जोगी सरकार को नहीं..भूपेश बघेल को आइना दिखा रहे हैं। दरअसल कांग्रेस गुटबाजी के रोग से परेशान है। लोक सुराज अभियान को जबरदस्त सफलता मिल रही है। जनता की जनता के दरवाजे पहुंच रही है। मौके पर ही सभी समस्याओं का निदान किया जा रहा है।   आदि विषयों पर चर्चा हुई।

                                  आज के संभागी बैठक में संचालक मंयक बरदरे, जिला शिक्षा अधिकारी हेमंत उपाध्याय, राष्ट्रीय शिक्षा मिशन के संचालक समेत मुख्यालय के कई स्कूलों के प्राचार्य शामिल हुए।

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